Saturday, May 2, 2020

वो .. बस वाली लड़की

उस दिन अमन को ऑफिस में काम की वज़ह से बहुत देर हो गई थी और
लगभग 8 बज गए थे .. वो अपना बैग समेटकर जल्दी से बस स्टैंड की ओर
भागा .. जैसे ही वो बस स्टैंड पहुंचा तो देखा कि बस निकलने वाली थी ..
उसने भाग के जल्दी से बस में चढ़ गया और एक सीट ढूंढने लगा .. और
किस्मत से उसको एक सीट मिल भी गई .. वो हांफते हुए अपनी सीट पे बैठ गया .. भागकर आने की वज़ह से उसकी सांस फूल रही थी .. तो उसने
हड़बड़ाते हुए अपने बैग से पानी की बोतल निकालनी चाही .. 

लेकिन ये क्या ..? जल्दबाज़ी की वज़ह से आज उसकी पानी की बोतल
ऑफिस में ही रह गई थी ..

तभी किसी ने पीछे से एक प्यारी सी आवाज़ में कहा
“शायद आपको पानी की ज़रूरत है” और उसने बोतल आगे बढ़ा दी
उसने जल्दी से उसके हाँथ से बोतल ली और पानी पीने लगा ..

पानी पीने के बाद उसने बोतल वापस की और उसको थैंक्यू बोलकर
वो अपने कानों में इयरफोन लगा रेडियो सुनते हुए खिड़की से बाहर
देखने लगा ..

कुछ देर बाद उसका स्टॉप आ गया तो वो उतर गया..

अगले दिन फिर से वो ऑफिस के बाद बस स्टैंड पहुँचा और जैसे ही
बस में चढ़ा .. उसे एक ख़ाली सीट दिखी और वो उस सीट पर बैठ गया
और रोज़ की तरह कान में इयरफोन लगा कर वो रेडियो सुनने लगा और बाहर की ओर देखने लगा .. इतने में एक बच्ची उसके पास आकर बैठ
गई .. और थोड़ी ही देर बाद वो अपनी माँ से ज़िद करने लगी कि उसे भी
खिड़की के पास बैठना है .. तो उसकी माँ ने अमन से कहा कि क्या वो
उसकी सीट पे बैठ जाएगा .. अमन ने हां कर दी और उठकर उस महिला
की सीट पर बैठ गया .. 

लेकिन ये क्या उसने देखा कि जिस सीट पर महिला बैठी थी उसी पर
वो कल वाली लड़की भी बैठी हुई है .. तो अमन मन ही मन ख़ुश हुआ
और ये सोचते हुए की “ये उसकी क़िस्मत है या भगवान की मर्ज़ी” उसके
पास बैठ गया

कल तो जल्दबाजी की वजह से उसने उस लड़की की तरफ़ कोई ध्यान न
दिया था .. पर आज उसने जब उसकी ओर देखा तो वो सुंदर नैन नख़्स
वाली एक सुंदर सी लड़की थी .. जिसने अपने कानों में आर्टिफिशियल
झुमके पहन रखे थे जो बस में बैठे होने के कारण जब हिलते तो उसकी
खूबसूरती में चार चाँद लगा देते ..

मन ही मन अमन सोचने लगा कि वो उस से उसका नाम पूछे लेकिन दिल
डर रहा था .. फिर उसने उस से पानी की बोतल मांगनी चाही उसने जब
अमन की ओर देखा तो उन दोनों की नज़रें मिलीं और अमन ने डर के गर्दन
घुमा ली ..

वो मन ही मन सोचने लगा “अमन तू पागल है क्या .. लगता है बस में ही
मार खायेगा .. और उसने डर कर उस से बात करने की ख़्वाहिश छोड़ दी
और चुपचाप बैठ कर अपने स्टॉप के आने का इंतज़ार करने लगा .. फिर
स्टॉप के आते ही बस से उतरते हुए उसने सोचा कि एक बार और दीदार
कर लूं .. और उसने जैसे ही गर्दन घुमाई तो ये क्या .. उसके चेहरे पर एक
अलग ही गुस्सा दिख रहा था .. तो अमन ने डर कर अपना सर झुकाया और
अपने घर की ओर निकल गया

रास्ते भर वो यही सोचता रहा कि लगता है उसने कोई गलती कर दी है
और रात भर वो यही सोचता रहा .. किसी तरह रात कटी और सुबह वो
ऑफिस पहुंच गया .. पर आज उसका काम में मन ही नहीं लग रहा था

शाम को ऑफिस से निकलकर .. वो बस स्टॉप पहुंचा तो वो बस तो थी
पर वो नहीं थी जिसको अमन आज ढूंढ रहा था .. उसने उस बस को जाने
दिया .. और अगली बस का इंतज़ार करने लगा .. और इस तरह उसने 3 बसें जाने दीं .. फिर वो सोचने लगा कि हो सकता है कि आज वो आयी ही
न हो या हो सकता है कि वो जल्दी निकल गई हो .. 

और वो उदास मन से अगली बस में बैठ गया .. और थोड़ी ही देर में वो लड़की जिसका अमन इंतज़ार कर रहा था .. वो भी भागकर बस में चढ़
गई .. उसे देख अमन का चेहरा खिल गया और दिल जोरों से धड़कने लगा
मानो वो ही भाग कर आया हो .. 

और फिर वो चुपचाप आकर अमन की बगल वाली सीट जो कि खाली थी
उस पर बैठ गई .. और आज फिर से अमन का दिल करने लगा कि वो उस
से बात करे पर दिमाग सोच रहा था कि भाई अमन तू दो दिन साथ के सफ़र
करने को ज्यादा सीरियसली नहीं ले रहा है .. और अमन दिल की जगह दिमाग़ की बात सुन के चुप चाप बैठ गया और अपने स्टॉप का इंतज़ार करने
लगा .. और जैसे ही उसका स्टॉप आया वो बस से उतरकर एक बार उसको देखकर अपने घर चला गया और अगले दिन का इंतज़ार करने लगा

अगले दिन अमन जैसे ही बस स्टैंड पहुँचा और बस में चढ़ा तो देखा कि वो
बस में पहले से बैठी है .. उसने हाँथ हिलाते हुए अपने पास वाली खाली
सीट पर आकर बैठने को कहा .. अमन तो मानो जैसे इसी पल का इंतज़ार
कर रहा था .. वो ख़ुश होकर उसकी पास वाली सीट पर जाकर बैठ गया
और बस चल दी

तो आज उस लड़की ने ही मुस्कुराते हुए कहा

जी .. आप बोलते भी हो या .. गूंगे हो ..
अमन ने कांपती हुए बोला .. जी .. जी नहीं .. बोलता हूं न!
ये सुनकर वो खिलखिला कर हंस पड़ी और कहने लगी की तीन दिन से
आप जो बोलना चाह रहे हो वो तो बोल नहीं पा रहे और कहते हो कि
बोलते हो ..
तो अमन ये सुनकर हड़बड़ा गया .. और कहने लगा कि .. जी! नहीं ..
ऐसी तो कोई बात नहीं है ..
तो उसने गुस्से से अमन की ओर देखा और बोली .. अच्छा!
और चुप हो गई
तो अमन ये सोचने लगा कि ओह्ह! ये क्या बोल दिया उसने
और फिर थोड़ी देर बाद उसने हिम्मत जुटा के बोला .. जी आपका नाम
क्या है .. तो वो हंसने लगी और बोली कि बस नाम पूछने के लिए इतना
डर रहे थे .. और बोली .. गायत्री ..

अमन मन ही मन सोचने लगा .. कितना सुंदर नाम है .. जैसा नाम है
वैसी ही ख़ुद भी है .. और फ़िर थोड़ी देर बाद उसने फिर से हिम्मत
जुटाई और कहा .. जी .. कुछ बोलना था .. आपसे

उसने घूरकर अमन की तरफ़ देखा और बोली कि .. अभी तो आप बोल
रहे थे कि कुछ नहीं बोलना है .. तो

ये सुनकर अमन चुप हो गया .. और फिर जब उसका स्टॉप आने ही वाला
था .. तो वो कहने लगी .. स्टॉप आने के बाद ही बोलोगे क्या ..
ये शब्द सुनकर .. अमन बस इतना ही बोल पाया ..

“आप पसंद हो मुझे”

और इतना बोलकर अमन चुप हो गया .. और लड़की की तरफ़ देखा तो
उसका चेहरा गुस्से से था और उसकी आंखें लाल हो गईं थीं

अमन सोचने लगा .. भाई आज तो काम हो गया .. यहीं सारी बस मिलकर
मारेगी उसे .. और उसका सारा इश्क़ का भूत उतर जाएगा .. पर उसने देखा
की वो शांत हो गयी है और कुछ नहीं कर रही है .. फिर जैसे ही अमन का
स्टॉप आने वाला था उसके हांथों पर उस लड़की के हाँथ महसूस हुए और
उसने धीरे से कहा

क्या .. मुझे .. ज़िंदगी भर .. पसन्द करोगे

क्या ये हाँथ ज़िंदगी भर के लिए थामोगे .... अमन ने मुस्कुरा कर बस अपनी
गर्दन हां में हिला दी और एक बार आंख से आंख मिलाकर दीदार कर अपने
स्टॉप पर उतर गया ..










संसद भवन में स्थापित सेंगोल का क्या इतिहास है ?(पांच हजार पूर्व का इतिहास )

पीएम नरेंद्र मोदी जी का एक और ऐतिहासिक फ़ैसला जिसने हमारे पूज्य प्रधानमंत्री जी के गौरव के साथ - साथ भारत के भी सम्मान को भी बढ़...